रायपुर, 17 अप्रैल (हि.स.)। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) ने रविवार को रेडियो पर प्रसारित अपनी मासिक रेडियो वार्ता लोकवाणी की 28वीं कड़ी में प्रदेशवासियों को सम्बोधित करते हुए कहा कि हमारा नया बजट (new budget), नए छत्तीसगढ़ के विकास की दिशा तय करने वाला है। प्रदेश की खुशहाली में जनभागीदारी की सर्वाधिक भूमिका रहे, प्रदेश की समृद्धि में प्रत्येक छत्तीसगढ़वासी की भागीदारी रहे, यह हम सुनिश्चित करेंगे।
हमारी सरकार जनहित और राज्य के विकास के लिए चट्टान की तरह मजबूती से काम कर रही है। कोरोना संकट, जीएसटी और केन्द्रीय करों के हिस्से में कमी के बावजूद राजस्व आधिक्य का बजट प्रस्तुत किया गया है। राज्य का ऋण भार और वित्तीय घाटा लगातार कम हो रहा है तथा पूंजीगत व्यय लगातार बढ़ रहा है। आज प्रसारित लोकवाणी -‘नवा छत्तीसगढ़, नवा बजट’ विषय पर केन्द्रित रही। छत्तीसगढ़ राज्य गठन के बाद अब तक का सबसे बड़ा बजट राज्य सरकार द्वारा प्रस्तुत किया गया है। राज्य के बजट का आकार एक लाख 12 हजार 603 करोड़ 40 लाख रुपये है।
मुख्यमंत्री ने प्रदेशवासियों को विभिन्न पर्वों की दी बधाई
मुख्यमंत्री भपेश बघेल ने लोकवाणी की शुरुआत छत्तीसगढ़ी (Chhattisgarhi) भाषा में की। उन्होंनें कहा जम्मो सियान-जवान, दाई-दीदी, नोनी-बाबू मन ल जय जोहार। जय सियाराम। आप सब ल रामनवमी, डॉ. अम्बेडकर जयंती, महावीर जयंती, बैसाखी, हाटकेश्वर जयंती, श्रीमद् वल्लभाचार्य जयंती, ईद-उल-फितर के गाड़ा-गाड़ा बधाई।
लोकवाणी में रायपुर जिले के मलदा गांव के उमाकांत वर्मा, छत्तीसगढ़ को एक लाख करोड़ रुपये से अधिक का बजट प्रस्तुत करने पर मुख्यमंत्री को बधाई दी। रायपुर के राजेश वासवानी ने राजस्व आधिक्य का बजट पेश करने और कोरोना की चुनौती के बावजूद बजट में कोई भी नया कर व्यापारियों के ऊपर नहीं लगाने के लिए बधाई दी।
बजट में सामाजिक क्षेत्र के लिए 37 प्रतिशत का प्रावधान
लोकवाणी में कबीरधाम जिले के रणवीरपुर की आम्रपाली सहारे के बजट की प्राथमिकता के संबंध में पूछे गए सवाल का जवाब देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे प्रदेश में अनुसूचित जनजाति तथा अनुसूचित जाति की आबादी लगभग 45 प्रतिशत है। हमारे बजट के कुल प्रावधान में 33 प्रतिशत राशि अनुसूचित जनजाति के लिए और 12 प्रतिशत राशि अनुसूचित जाति के लिए है। सामाजिक और आर्थिक क्षेत्र में देखें तो हमने 40 प्रतिशत प्रावधान आर्थिक क्षेत्र के लिए रखा है तो इसके करीब ही 37 प्रतिशत का प्रावधान सामाजिक क्षेत्र के लिए भी किया है।
अनेक चुनौतियों के बावजूद किया गया स्वास्थ्य सुविधाओं का विस्तार
कोरिया जिले के चिरमिरी के राहुल भाई पटेल पूंजीगत व्यय के संबंध में पूछा। मुख्यमंत्री ने उनके सवाल का जवाब देते हुए कहा कि वर्ष 2021-22 का पूंजीगत व्यय 14 हजार 191 करोड़ तथा वर्ष 2022-23 के बजट में 15 हजार 241 करोड़ रखा गया है। इस प्रकार पूंजीगत व्यय (Capital expenditure) में लगातार वृद्धि हो रही है।
मुख्यमंत्री बघेल ने कोरबा के डॉ. सूरज कुमार गोहिल द्वारा वित्तीय घाटे को लेकर पूछे गए प्रश्न के जवाब में कहा कि वर्ष 2021-22 में सकल वित्तीय घाटा 15 हजार 257 करोड़ था। वर्ष 2022-23 के लिए इसे कम करते हुए 14 हजार 600 करोड़ अनुमानित रखा गया है। इसमें तीन हजार 400 करोड़ 50 वर्षीय ब्याज मुक्त ऋण की राशि शामिल है, जिसे कम करने पर यह घटकर 11 हजार 200 करोड़ होगा, जो वर्ष 2022-23 के लिए राज्य की जीएसडीपी का केवल 2.55 प्रतिशत होगा। यह एफआरबीएम एक्ट के अंतर्गत निर्धारित 3 प्रतिशत की सीमा से काफी कम है।
राज्य सरकार किसी भी हालत में अपने वायदे से पीछे हटने वाली नहीं
मुख्यमंत्री भूपेश ने धमतरी जिले के ग्राम-जी जामगांव, शुभम दास बघेल ने जानना चाहा कि ‘राजीव गांधी किसान न्याय योजना’ नए वित्तीय वर्ष (financial year) में भी चालू रहेगी या नहीं? मुख्यमंत्री बघेल ने कहा कि ‘राजीव गांधी किसान न्याय योजना’ के लिए हमने इस बार भी 6 हजार करोड़ रुपये का प्रावधान रखा है। इसका मतलब यह है कि योजना चालू रहेगी। विगत दो वर्षों में इस योजना के माध्यम से 11 हजार 180 करोड़ रुपये की राशि दी गई है। उन्होंने कहा कि आप विश्वास रखिए कि हम किसी भी हालत में अपने वायदे से पीछे हटने वाले नहीं हैं और जो काम शुरू किए हैं, उन्हें आगे भी जारी रखेगें ताकि धान के किसानों को विभिन्न योजनाओं के सहयोग से 2500 रुपये प्रति क्विंटल से कम दाम किसी भी सूरत में न मिले।



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