शिवाजी पार्क की रैली में गरजे शिवसेना पक्ष प्रमुख
मुख्यमंत्री शिंदे को घेरा, गद्दारों को गद्दार ही कहेंगे
मुंबई। शिवसेना (Shiv Sena) के ठाकरे गुट की दादर के शिवाजी पार्क में आयोजित दशहरा रैली (Dussehra Rally) में शिवसेना पक्ष प्रमुख उद्धव ठाकरे ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे सहित भाजपा पर चौतरफा हमला बोलते हुए कहा कि एक बार फिर से महाराष्ट्र (Maharashtra) में शिवसेना का मुख्यमंत्री बनाएंगे। शिंदे को गद्दार की उपाधि देते हुए ठाकरे ने कहा कि गद्दारों को गद्दार ही कहा जाएगा। मंत्री पद कुछ समय के लिए है, लेकिन कपाल पर लिखा गद्दारी का सिक्का कभी नहीं मिटेगा। शिंदे को एक मंच पर भाषण की चुनौती पेश करते हुए उन्होंने कहा कि वे साजिश करने वाले कटप्पा हैं।
यह ठाकरे परिवार की कमाई
ठाकरे ने कहा कि बगावत के बाद कई लोगों ने कहा कि शिवसेना का क्या होगा? लेकिन मेरे मन में चिंता नहीं थी। आज शिवतीर्थ (shivtirtha) पर भीड़ देखकर सवाल खड़ा हुआ कि गद्दारों का क्या होगा? इस सभा में एक भी इंसान किराए पर नहीं लाया गया, यहां कोई घंटे भर की बोली लगाकर नहीं आया। यहां माता-बहने, बुजुर्ग-दिव्यांग आए हैं। सभी से पूछिए...वे सभी कहेंगे हम वफादार हैं। ये सब लोग शिवसेना प्रमुख ने जोड़कर दिए, यह ठाकरे परिवार की कमाई है।
इस बार 50 खोका का रावण
ठाकरे ने कहा कि इस बार भी रावण दहन होगा, लेकिन इस बार रावण दहन अलग है। जैसा समय बदलता है, वैसा रावण भी बदलता है। अभी तक आपने दस सिर वाला रावण देखा है, लेकिन इस बार रावण 50 खोका का है। खोकासुर है....धोखासुर है।
रावण ने साधु का रुप धरकर सीता माता का हरण किया था। वैसे ही ये तोते बाला साहेब का चेहरा लगाकर शिवसेना को हड़प की कोशिश कर रहे हैं।
साजिश करने वाले कटअप्पा
शिवसेना पक्ष प्रमुख ने कहा कि दुख की बात यह है कि जब सर्जरी के लिए मैं अस्पताल में था, तब जिन पर जवाबदारी थी, उस कटप्पा अर्थात कट (साजिश) करने वाला आप्पा, साजिश कर रहा था। अब वे फिर हमारे साथ नहीं आ सकते। उन्हें जानकारी नहीं है कि मैं केवल उद्धव ठाकरे नहीं, उद्धव बाला साहेब ठाकरे हूं। विचित्र बात यह है कि जिसे सब कुछ दिया, विधायक बनाया, मंत्री बनाया, वे चलते बने, लेकिन जिन्हें कुछ नहीं दिया वे आज भी मेरे साथ हैं।
भाजपा ने पीठ पर वार किया
ठाकरे ने कहा कि शिवसेना मर्द और वफादार शिवसैनिकों की है। जब तक आप सब लोग मेरे साथ हैं, मैं शिवसेना का प्रमुख हूं। एक शिवसैनिक ने कहा कि गेट आऊट, तो मैं बाहर चला जाऊंगा। यह बात आप कह सकते हैं, लेकिन गद्दार नहीं। ठाकरे ने कहा कि मुख्यमंत्री क्यों बना? आघाड़ी कैसे बनी? यह छुपाने की बात नहीं है। भाजपा ने पीठ पर वार किया था, इसलिए महाविकास आघाड़ी बनी। हिंदुत्व नहीं छोड़ा था। जब मुख्यमंत्री पद की शपथ ली, तब तुम कांग्रेस-राकांपा के साथ बैठे थे। तुमने सबके साथ शपथ ली। 2019 के चुनाव के पहले भाजपा और शिवसेना में ढाई-ढाई साल के मुख्यमंत्री की बात तय हुई थी। अपने मां-बाप की शपथ खाकर यह बात कहता हूं। अब वे कह रहे हैं कि शिवसेना खत्म करनी है। क्या शिवसेना पक्ष प्रमुख तुम्हें स्वीकारते हैं। इतनी लायकी है। खुद अपने पिता के नाम पर वोट मांगने की हिम्मत नहीं है। बाप छोड़ने वाली औलाद। आज आनंद दिघे का नाम लेते हैं। इसके पहले आनंद दिघे याद नहीं आ रहे थे। आनंद दिघे अंत तक वफादार बने रहे, गए तो भगवा के साथ।
देवेंद्र फडणवीस को घेरा
उप मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस पर ताना मारते हुए ठाकरे ने कहा कि सीमाओं में रहकर बोलना होगा। उन पर ताना नहीं मारूंगा। वे सभ्य गृहस्थ हैं। वे महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री रहे। फिर आएंगे...फिर आएंगे कहते रहे, फिर सरकार का डेढ़ दिन में विसर्जन हो गया। उन्हें भारी मन से मुख्यमंत्री बनना पड़ा। उन्होंने लोगों से पूछा क्या मैंने ताना मारा।
भाजपा का साथ छोड़ा, हिंदुत्व नहीं
ठाकरे ने कहा कि हमने शिवसैनिकों से शांत रहने को कहा है। उन्हें शांत रहने दीजिए। शिवसैनिकों पर अन्याय हुआ तो हम उसे कदापि सहन नहीं करेंगे। ठाकरे ने कहा कि हमें भाजपा से हिंदुत्व सीखने की जरूरत नहीं है। हमने भाजपा का साथ छोड़ा है, हिंदुत्व नहीं छोड़ा। आज भी हिंदू हैं......मरेंगे तो हिंदू बनकर। जिन्होंने पाकिस्तान जाकर जिन्ना की मजार पर माथा टेका, नवाज शरीफ के जन्मदिन पर केक खाने पाकिस्तान गए.....कश्मीर में पीडीपी से गठबंधन किया, वे हमें हिंदुत्व सिखाएंगे? महंगाई पर बोलो, बेरोजगारी पर बोलो। यह बात नहीं करनी, केवल हिंदुत्व का डोज देना है। आरएसएस नेता दत्तात्रेय होसबोले का अभिनंदन करता हूं, हमारी मुलाकात नहीं हुई, लेकिन उन्होंने भाजपा को आईना दिखाने का काम किया है।
हां, हमें जमीन दिखाओ
ठाकरे ने कहा कि वर्ष 2014 में डॉलर के मुकाबले रुपए की क्या कीमत थी। आज यह 80 रुपए के ऊपर चला गया। पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने कहा था कि जब रुपए की कीमत कम होती है तो देश की प्रतिष्ठा भी कम होती है। गृहमंत्री अमित शाह शिवसेना को जमीन दिखाने की बात कह रहे हैं। हमें जमीन दिखाओ। पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर की एक फुट जमीन दिखाओ। सात- आठ साल हो गए, एक इंच टुकड़ा वापस नहीं ले पाए। अगले कुछ दिनों में सरकार को 100 दिन हो रहे हैं, लेकिन 90 दिन दिल्ली जाने में चले गए।
एक मंच पर भाषण देने की चुनौती
ठाकरे ने कहा कि शिंदे का कहना है कि यदि ध्यान दिया होता तो हमें शिवाजी पार्क नहीं मिलता। उन्हें धनुष बाण चाहिए, बाला साहेब ठाकरे चाहिए। एक मंच पर भाजपा की बिना पटकथा लेकर भाषण करके दिखाओ। उन्हें मुख्यमंत्री बनने के बाद चार-पांच प्रेस कांफ्रेंस देखी। मेरे मुख्यमंत्री रहते कभी भी अजित पवार ने माइक नहीं खींचा, कान में फूंका नहीं। कांग्रेस-राकांपा ने पूरा मान सम्मान दिया। यहां तक कि औरंगाबाद का नाम संभाजी नगर और उस्मानाबाद का नाम धाराशिव करने का प्रस्ताव कैबिनेट बैठक में लाया गया तो उसका कांग्रेस-राकांपा ने समर्थन किया। हमने हिंदुत्व को बढ़ाया। आज राज्य में किसानों की आत्महत्या बढ़ रही है। यह सरकार घोषणाओं की अतिवृष्टि कर रही हैं, लेकिन क्रियान्वयन का अकाल है। इसके पहले रैली को विधानपरिषद में नेता प्रतिपक्ष अंबादास दानवे, पूर्व मंत्री सुभाष देसाई, भास्कर जाधव, सुषमा अंधारे, मुंबई की पूर्व मेयर किशोरी पेडणेकर आदि ने संबोधित किया।



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Wed, Oct 05 , 2022, 10:11 AM